News Korba :: विभिन्न मांगों को लेकर 5 अगस्त को किसान सभा बंद करेगी खदान:

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कोरबा। एसईसीएल की मेगा प्रोजेक्ट में शामिल गेवरा, कुसमुंडा व दीपका के खदानों में भूविस्थापितों के बार-बार किए जा रहे आंदोलन से कोयला उत्पादन प्रभावित हो रहा है। इस बार किसान सभा ने एसईसीएल की वादाखिलाफी पर खदानों को बंद कराकर कंपनी के दफ्तरों में ताला लगाने का ऐलान किया है। इसके लिए 5 अगस्त की तिथि तय हुई है। बसाहट, रोजगार समेत भूविस्थापितों के हित में 16 सूत्रीय मांगों को लेकर यह आंदोलन किया जाएगा।किसान सभा की अगुवाई में भूविस्थापित रोजगार एकता संघ के सहयोग से होने वाले इस आंदोलन को टालने संगठन के प्रतिनिधि मंडल के साथ प्रबंधन की 3 घंटे तक चर्चा हुई। लेकिन कोई सकारात्मक नतीजे नहीं निकल पाए। किसान सभा के जिला सचिव प्रशांत झा ने बताया कि आश्वासन देकर समय लेने के बाद एसईसीएल की गुमराह करने की नीति अब नहीं चलेगी। कंपनी के सभी एरिया के भूविस्थापितों के लंबित रोजगार, बसावट और प्रभावित गांव की मूलभूत समस्याओं को दूर करने पहल की जाए।कुसमुंडा में जमीन के बदले रोजगार की मांग को लेकर 266 दिनों से धरना प्रदर्शन चल रहा है लेकिन प्रबंधन भू विस्थापितों से हर बार समय मांगी जाती है। इसे लेकर ज्ञापन सौंपा गया है। इस दौरान दामोदर श्याम, रेशम यादव, बलराम, दीना, सनत, रघु, मोहन कौशिक, टकेश्वर, राजेश, डुमन, विजय, नरेंद्र, घनाराम, हेमलाल, बजरंग सोनी, शेखर, बेदराम, नारायन, मोहन यादव समेत अन्य मौजूद रहे।


कोरबा। एसईसीएल की मेगा प्रोजेक्ट में शामिल गेवरा, कुसमुंडा व दीपका के खदानों में भूविस्थापितों के बार-बार किए जा रहे आंदोलन से कोयला उत्पादन प्रभावित हो रहा है। इस बार किसान सभा ने एसईसीएल की वादाखिलाफी पर खदानों को बंद कराकर कंपनी के दफ्तरों में ताला लगाने का ऐलान किया है। इसके लिए 5 अगस्त की तिथि तय हुई है। बसाहट, रोजगार समेत भूविस्थापितों के हित में 16 सूत्रीय मांगों को लेकर यह आंदोलन किया जाएगा।किसान सभा की अगुवाई में भूविस्थापित रोजगार एकता संघ के सहयोग से होने वाले इस आंदोलन को टालने संगठन के प्रतिनिधि मंडल के साथ प्रबंधन की 3 घंटे तक चर्चा हुई। लेकिन कोई सकारात्मक नतीजे नहीं निकल पाए। किसान सभा के जिला सचिव प्रशांत झा ने बताया कि आश्वासन देकर समय लेने के बाद एसईसीएल की गुमराह करने की नीति अब नहीं चलेगी। कंपनी के सभी एरिया के भूविस्थापितों के लंबित रोजगार, बसावट और प्रभावित गांव की मूलभूत समस्याओं को दूर करने पहल की जाए।कुसमुंडा में जमीन के बदले रोजगार की मांग को लेकर 266 दिनों से धरना प्रदर्शन चल रहा है लेकिन प्रबंधन भू विस्थापितों से हर बार समय मांगी जाती है। इसे लेकर ज्ञापन सौंपा गया है। इस दौरान दामोदर श्याम, रेशम यादव, बलराम, दीना, सनत, रघु, मोहन कौशिक, टकेश्वर, राजेश, डुमन, विजय, नरेंद्र, घनाराम, हेमलाल, बजरंग सोनी, शेखर, बेदराम, नारायन, मोहन यादव समेत अन्य मौजूद रहे।


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