00 हाईटेक होगी नयी सिटी कोतवाली
रायपुर। अंग्रेजों के जमाने की 217 वर्ष पुरानी 1802 में बनाई गई सिटी कोतवाली का बुधवार की सुबह तक सफाचट हो गई। दो दिनों के भीतर शहर की इस ऐतिहासिक बिल्डिंग के स्थान पर अब सिटी कोतवाली का नया भवन और सीएसपी दफ्तार के नाम से ही जानी जायेगी क्योंकि इसके स्थान पर यहां हाईटेक कोतवाली अब मूर्त रूप लेने वाला है। जब तक यह हाईटेक कोतवाली तैयार नहीं हो जाती उस समय तक के लिये थाने और सीएसपी दफ्तर को रंग मंदिर गांधी चौक में अस्थाई रूप से हस्तारंतरित किया गया है।
इतिहासकारों का कहना है कि अंग्रेजों ने अपने शासनकाल में न्यायिक सुनवाई के लिये सिटी कोतवाली का उपयोग किया करते थे और यहां प्रकरणों की सुनवाई होती थी। तत्कालीन समय में रायपुर नागपुर कमिश्ररी के अंतर्गत आता था इस वजह से दूर दूर से लोग अपनी शिकायतों को लेकर कोतवाली आया करते थे। बताया जाता है अंग्रेजों ने इसे अपने शासनकाल में बनाया था जहां 1857 की जो क्रांति हुई उसकी सुनवाई इसी कोतवाली में हुई थी। सिटी कोतवाली में थाने का संचालन 117 वर्षों से किया जा रहा था। स्मार्ट सिटी ने कोतवाली के स्थान पर अत्याधुनिक सुविधाओं से लैस 5.50 करोड़ की लागत से बहुमंजिला हाईटेक थाना बनाने की कमान हाथों में थामी है। सिटी कोतवाली का नया भवन तथा सीएसपी दफ्तर ने अपना आकार ले लिया है।
00 हाईटेक होगी नयी सिटी कोतवाली
रायपुर। अंग्रेजों के जमाने की 217 वर्ष पुरानी 1802 में बनाई गई सिटी कोतवाली का बुधवार की सुबह तक सफाचट हो गई। दो दिनों के भीतर शहर की इस ऐतिहासिक बिल्डिंग के स्थान पर अब सिटी कोतवाली का नया भवन और सीएसपी दफ्तार के नाम से ही जानी जायेगी क्योंकि इसके स्थान पर यहां हाईटेक कोतवाली अब मूर्त रूप लेने वाला है। जब तक यह हाईटेक कोतवाली तैयार नहीं हो जाती उस समय तक के लिये थाने और सीएसपी दफ्तर को रंग मंदिर गांधी चौक में अस्थाई रूप से हस्तारंतरित किया गया है।
इतिहासकारों का कहना है कि अंग्रेजों ने अपने शासनकाल में न्यायिक सुनवाई के लिये सिटी कोतवाली का उपयोग किया करते थे और यहां प्रकरणों की सुनवाई होती थी। तत्कालीन समय में रायपुर नागपुर कमिश्ररी के अंतर्गत आता था इस वजह से दूर दूर से लोग अपनी शिकायतों को लेकर कोतवाली आया करते थे। बताया जाता है अंग्रेजों ने इसे अपने शासनकाल में बनाया था जहां 1857 की जो क्रांति हुई उसकी सुनवाई इसी कोतवाली में हुई थी। सिटी कोतवाली में थाने का संचालन 117 वर्षों से किया जा रहा था। स्मार्ट सिटी ने कोतवाली के स्थान पर अत्याधुनिक सुविधाओं से लैस 5.50 करोड़ की लागत से बहुमंजिला हाईटेक थाना बनाने की कमान हाथों में थामी है। सिटी कोतवाली का नया भवन तथा सीएसपी दफ्तर ने अपना आकार ले लिया है।