रायपुर केंद्र सरकार द्वारा जून-2022 के बाद से राज्यों को GST क्षतिपूर्ति की राशि नहीं देने के निर्णय पर छत्तीसगढ के सीएम भूपेश बघेल ने 17 राज्यों के मुख्यमंत्रियों को पत्र लिखा है। चिट्ठी में केंद्र के निर्णय से राज्यों को होने वाली नुकसान की बात कही गई है। सीएम ने ओडिशा, मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश, गुजरात, झारखंड, राजस्थान, पंजाब, बिहार, पश्चिम बंगाल, हरियाणा, आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु, कर्नाटक, केरल, तेलंगाना और दिल्ली के मुख्यमंत्रियों को चिट्ठी भेजी है।
सीएम बघेल ने 17 राज्यों के मुख्यमंत्रियों से केंद्र सरकार से क्षतिपूर्ति 10 वर्ष तक जारी रखने का साझा अनुरोध करने का आग्रह किया है, ताकि राज्यों को रेवेन्यू नुकसान से बचाया जा सके या फिर GST क्षतिपूर्ति जारी रखने वैकल्पिक व्यवस्था बनाई जा सके। भूपेश ने 3 बिंदुओं पर अपनी बात रखी है, जिसमें उन्होंने कहा है कि केंद्रीय वित्त मंत्री की अध्यक्षता में 29 दिसंबर 2021 को नई दिल्ली में राज्यों के मुख्यमंत्रियों और वित्त मंत्रियों के साथ बजट-पूर्व बैठक में छत्तीसगढ़ सहित अन्य राज्यों ने जून-2022 में समाप्त होने वाले GST मुआवजे पर चिंता व्यक्त की थी। केंद्र सरकार से GST क्षतिपूर्ति को 5 साल और बढ़ाने का अनुरोध किया था। इस मामले में सभी राज्य केंद्र सरकार से सकारात्मक निर्णय की उम्मीद रखते हैं।
मैन्युफैक्चरिंग राज्यों को होगा बड़ा नुकसान
दूसरे बिंदु में बघेल ने कहा कि छत्तीसगढ़ और आंध्र प्रदेश जैसे मैन्युफैक्चरिंग राज्यों के लिए GST क्षतिपूर्ति नहीं मिलना एक बड़ा वित्तीय नुकसान होगा। वि-निर्माण राज्य होने के नाते, देश की अर्थव्यवस्था के विकास में हमारा योगदान उन राज्यों की तुलना में बहुत अधिक है, जिन्हें वस्तुओं और सेवाओं की अधिक खपत के कारण जीएसटी शासन से लाभ हुआ है।
छत्तीसगढ़ को 5 हजार करोड़ का होगा नुकसान
भूपेश ने कहा कि यदि जीएसटी क्षतिपूर्ति जून 2022 से आगे जारी नहीं रखा गया तो छत्तीसगढ़ भारी राजस्व नुकसान उठाना पड़ सकता है। आगामी वित्तीय वर्ष में लगभग 5 हजार करोड़ का नुकसान हो सकता है। ठीक इसी तरह दूसरे राज्यों को भो आगामी वित्तीय वर्ष में राजस्व कम मिलेगा और राज्यों को इस समस्या से जनहित के कार्यों और विकास कार्यों के लिए पैसों की व्यवस्था करना बहुत कठिन हो जाएगा।
GST व्यवस्था के बाद राज्यों की स्वतंत्रता कम
तीसरे बिंदु में भूपेश बघेल ने कहा कि GST व्यवस्था शुरू होने के बाद टैक्स नीति पर राज्यों की स्वतंत्रता बहुत कम हो गई है। वाणिज्यिक टैक्स के अलावा, राज्यों के पास टैक्स राजस्व के अन्य मदों में राजस्व बढ़ाने विकल्प नहीं बचे हैं। इसलिए, अर्थव्यवस्था पर कोविड-19 के दुष्प्रभाव से उबरने और राज्यों को जीएसटी का लाभ मिलने तक, राज्यों को केंद्र सरकार से अनुरोध करना चाहिए कि वह कम से कम 5 साल तक जीएसटी की कमी के लिए क्षतिपूर्ति सिस्टम को जारी रखे। सीएम भूपेश ने विश्वास जताया कि राज्य उनकी बात से सहमत होंगे।
रायपुर केंद्र सरकार द्वारा जून-2022 के बाद से राज्यों को GST क्षतिपूर्ति की राशि नहीं देने के निर्णय पर छत्तीसगढ के सीएम भूपेश बघेल ने 17 राज्यों के मुख्यमंत्रियों को पत्र लिखा है। चिट्ठी में केंद्र के निर्णय से राज्यों को होने वाली नुकसान की बात कही गई है। सीएम ने ओडिशा, मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश, गुजरात, झारखंड, राजस्थान, पंजाब, बिहार, पश्चिम बंगाल, हरियाणा, आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु, कर्नाटक, केरल, तेलंगाना और दिल्ली के मुख्यमंत्रियों को चिट्ठी भेजी है।
सीएम बघेल ने 17 राज्यों के मुख्यमंत्रियों से केंद्र सरकार से क्षतिपूर्ति 10 वर्ष तक जारी रखने का साझा अनुरोध करने का आग्रह किया है, ताकि राज्यों को रेवेन्यू नुकसान से बचाया जा सके या फिर GST क्षतिपूर्ति जारी रखने वैकल्पिक व्यवस्था बनाई जा सके। भूपेश ने 3 बिंदुओं पर अपनी बात रखी है, जिसमें उन्होंने कहा है कि केंद्रीय वित्त मंत्री की अध्यक्षता में 29 दिसंबर 2021 को नई दिल्ली में राज्यों के मुख्यमंत्रियों और वित्त मंत्रियों के साथ बजट-पूर्व बैठक में छत्तीसगढ़ सहित अन्य राज्यों ने जून-2022 में समाप्त होने वाले GST मुआवजे पर चिंता व्यक्त की थी। केंद्र सरकार से GST क्षतिपूर्ति को 5 साल और बढ़ाने का अनुरोध किया था। इस मामले में सभी राज्य केंद्र सरकार से सकारात्मक निर्णय की उम्मीद रखते हैं।
मैन्युफैक्चरिंग राज्यों को होगा बड़ा नुकसान
दूसरे बिंदु में बघेल ने कहा कि छत्तीसगढ़ और आंध्र प्रदेश जैसे मैन्युफैक्चरिंग राज्यों के लिए GST क्षतिपूर्ति नहीं मिलना एक बड़ा वित्तीय नुकसान होगा। वि-निर्माण राज्य होने के नाते, देश की अर्थव्यवस्था के विकास में हमारा योगदान उन राज्यों की तुलना में बहुत अधिक है, जिन्हें वस्तुओं और सेवाओं की अधिक खपत के कारण जीएसटी शासन से लाभ हुआ है।
छत्तीसगढ़ को 5 हजार करोड़ का होगा नुकसान
भूपेश ने कहा कि यदि जीएसटी क्षतिपूर्ति जून 2022 से आगे जारी नहीं रखा गया तो छत्तीसगढ़ भारी राजस्व नुकसान उठाना पड़ सकता है। आगामी वित्तीय वर्ष में लगभग 5 हजार करोड़ का नुकसान हो सकता है। ठीक इसी तरह दूसरे राज्यों को भो आगामी वित्तीय वर्ष में राजस्व कम मिलेगा और राज्यों को इस समस्या से जनहित के कार्यों और विकास कार्यों के लिए पैसों की व्यवस्था करना बहुत कठिन हो जाएगा।
GST व्यवस्था के बाद राज्यों की स्वतंत्रता कम
तीसरे बिंदु में भूपेश बघेल ने कहा कि GST व्यवस्था शुरू होने के बाद टैक्स नीति पर राज्यों की स्वतंत्रता बहुत कम हो गई है। वाणिज्यिक टैक्स के अलावा, राज्यों के पास टैक्स राजस्व के अन्य मदों में राजस्व बढ़ाने विकल्प नहीं बचे हैं। इसलिए, अर्थव्यवस्था पर कोविड-19 के दुष्प्रभाव से उबरने और राज्यों को जीएसटी का लाभ मिलने तक, राज्यों को केंद्र सरकार से अनुरोध करना चाहिए कि वह कम से कम 5 साल तक जीएसटी की कमी के लिए क्षतिपूर्ति सिस्टम को जारी रखे। सीएम भूपेश ने विश्वास जताया कि राज्य उनकी बात से सहमत होंगे।