श्रमिक लछवंतीन को अब नहीं सताती बेटे के भविष्य को गढ़ने की चिंता:

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मिनीमाता महतारी जतन योजना से मिले 20 हजार रूपए



धमतरी. एक मां का सबसे बड़ा सपना अपने बच्चे के भविष्य को बेहतर और सुरक्षित
बनाने का होता है और श्रमिक वर्ग की मांओं के इस सपने को साकार करने में
प्रदेश सरकार की मिनीमाता महतारी जतन योजना अहम भूमिका निभा रही है। योजना
के तहत मिलने वाली 20 हजार रूपए की एकमुश्त राशि से श्रमिक परिवार के
बच्चों के भविष्य को संवारने में काफी मदद मिल रही है। दिहाड़ी श्रमिक
श्रीमती लछवंतीन साहू भी अपने छह माह के बेटे मोक्ष के भविष्य को लेकर अब
अधिक चिंतित नहीं है, क्योंकि उक्त योजना के तहत उन्हें श्रम विभाग की ओर
से 20 हजार रूपए की राशि मिली जो उनके बेटे के भावी जीवन के लिए सहारा बनी।

    स्थानीय दानीटोला वार्ड की निवासी श्रीमती लछवंतीन साहू संगठित कर्मकार
कल्याण मण्डल के तहत पंजीकृत दिहाड़ी श्रमिक हैं, जो गृह निर्माण कार्य में
रेजा का काम करती हैं। उनके पति सुभाष साहू भी पेशे से मजदूर है। गत वर्ष
28 अगस्त 2022 को साहू दम्पति को पुत्र रत्न की प्राप्ति हुई जिसका नाम
मोक्ष रखा। जन्म के साथ ही उसके भविष्य की चिंता मां को सताने लगी। इसी बीच
उन्हें पता चला कि श्रम विभाग में मिनीमाता महतारी जतन योजना के तहत
पंजीकृत श्रमिकों को आर्थिक सहायता राशि प्रदाय की जाती है। फिर साहू
दम्पति ने इसके लिए आवेदन दिया और उनके खाते में 20 हजार रूपए की राशि जमा
हो गई। श्रमिक परिवार के लिए यह राशि बहुत बड़ी है। भावुक होकर लछवंतीन ने
कहा- ‘मिनीमाता महतारी जतन योजना के तहत मिले 20 हजार रूपए को वह बैंक खाते
में तब तक जमा रखेंगी, जब तक बेटा मोक्ष बड़ा न हो जाए।‘ उन्होंने बताया कि
यह राशि उनके लिए बड़ी रकम है जिसे वह अपने बेटे के भविष्य को सुरक्षित
करने में उपयोग करेंगी। शासन की यह योजना हम जैसे गरीब और दिहाड़ी श्रमिकों
के लिए वरदान सिद्ध हुई है। श्रीमती साहू ने प्रदेश सरकार के प्रति आभार
प्रकट करते हुए कहा- ‘मौजूदा सरकार हम श्रमिकों के लिए सकारात्मक सोच रखती
है, यह बहुत बड़ी बात है। इस योजना से हमें काफी राहत मिली है।‘

क्या है मिनीमाता महतारी जतन योजना:- श्रम विभाग (छत्तीसगढ़ भवन एवं अन्य
सन्निर्माण कर्मकार कल्याण मण्डल) के तहत पंजीकृत महिला निर्माण श्रमिकों
को प्रथम दो संतानों के जन्म पर 20-20 हजार रूपए की राशि प्रदान किए जाने
का प्रावधान है। श्रम पदाधिकारी ने बताया कि योजना का लाभ लेने के लिए
श्रमिक का पंजीयन बच्चे के जन्म से 90 दिनों के पूर्व का होना चाहिए।
पंजीकृत श्रमिक को आवेदन के साथ जच्चा-बच्चा कार्ड, जन्मा प्रमाण-पत्र,
आधार कार्ड, स्वघोषणा प्रमाण पत्र और नियोजक प्रमाण पत्र प्रस्तुत किया
जाना आवश्यक है। उन्होंने यह भी बताया कि योजना के तहत अब तक 4 हजार 191
पात्र एवं पंजीकृत महिला श्रमिकों को लाभान्वित किया जा चुका है। जिले के
अधिकाधिक लोगों को योजना का लाभ दिलाने जिले की विभिन्न ग्राम पंचायतों में
शिविर लगाए गए हैं।


मिनीमाता महतारी जतन योजना से मिले 20 हजार रूपए



धमतरी. एक मां का सबसे बड़ा सपना अपने बच्चे के भविष्य को बेहतर और सुरक्षित
बनाने का होता है और श्रमिक वर्ग की मांओं के इस सपने को साकार करने में
प्रदेश सरकार की मिनीमाता महतारी जतन योजना अहम भूमिका निभा रही है। योजना
के तहत मिलने वाली 20 हजार रूपए की एकमुश्त राशि से श्रमिक परिवार के
बच्चों के भविष्य को संवारने में काफी मदद मिल रही है। दिहाड़ी श्रमिक
श्रीमती लछवंतीन साहू भी अपने छह माह के बेटे मोक्ष के भविष्य को लेकर अब
अधिक चिंतित नहीं है, क्योंकि उक्त योजना के तहत उन्हें श्रम विभाग की ओर
से 20 हजार रूपए की राशि मिली जो उनके बेटे के भावी जीवन के लिए सहारा बनी।

    स्थानीय दानीटोला वार्ड की निवासी श्रीमती लछवंतीन साहू संगठित कर्मकार
कल्याण मण्डल के तहत पंजीकृत दिहाड़ी श्रमिक हैं, जो गृह निर्माण कार्य में
रेजा का काम करती हैं। उनके पति सुभाष साहू भी पेशे से मजदूर है। गत वर्ष
28 अगस्त 2022 को साहू दम्पति को पुत्र रत्न की प्राप्ति हुई जिसका नाम
मोक्ष रखा। जन्म के साथ ही उसके भविष्य की चिंता मां को सताने लगी। इसी बीच
उन्हें पता चला कि श्रम विभाग में मिनीमाता महतारी जतन योजना के तहत
पंजीकृत श्रमिकों को आर्थिक सहायता राशि प्रदाय की जाती है। फिर साहू
दम्पति ने इसके लिए आवेदन दिया और उनके खाते में 20 हजार रूपए की राशि जमा
हो गई। श्रमिक परिवार के लिए यह राशि बहुत बड़ी है। भावुक होकर लछवंतीन ने
कहा- ‘मिनीमाता महतारी जतन योजना के तहत मिले 20 हजार रूपए को वह बैंक खाते
में तब तक जमा रखेंगी, जब तक बेटा मोक्ष बड़ा न हो जाए।‘ उन्होंने बताया कि
यह राशि उनके लिए बड़ी रकम है जिसे वह अपने बेटे के भविष्य को सुरक्षित
करने में उपयोग करेंगी। शासन की यह योजना हम जैसे गरीब और दिहाड़ी श्रमिकों
के लिए वरदान सिद्ध हुई है। श्रीमती साहू ने प्रदेश सरकार के प्रति आभार
प्रकट करते हुए कहा- ‘मौजूदा सरकार हम श्रमिकों के लिए सकारात्मक सोच रखती
है, यह बहुत बड़ी बात है। इस योजना से हमें काफी राहत मिली है।‘

क्या है मिनीमाता महतारी जतन योजना:- श्रम विभाग (छत्तीसगढ़ भवन एवं अन्य
सन्निर्माण कर्मकार कल्याण मण्डल) के तहत पंजीकृत महिला निर्माण श्रमिकों
को प्रथम दो संतानों के जन्म पर 20-20 हजार रूपए की राशि प्रदान किए जाने
का प्रावधान है। श्रम पदाधिकारी ने बताया कि योजना का लाभ लेने के लिए
श्रमिक का पंजीयन बच्चे के जन्म से 90 दिनों के पूर्व का होना चाहिए।
पंजीकृत श्रमिक को आवेदन के साथ जच्चा-बच्चा कार्ड, जन्मा प्रमाण-पत्र,
आधार कार्ड, स्वघोषणा प्रमाण पत्र और नियोजक प्रमाण पत्र प्रस्तुत किया
जाना आवश्यक है। उन्होंने यह भी बताया कि योजना के तहत अब तक 4 हजार 191
पात्र एवं पंजीकृत महिला श्रमिकों को लाभान्वित किया जा चुका है। जिले के
अधिकाधिक लोगों को योजना का लाभ दिलाने जिले की विभिन्न ग्राम पंचायतों में
शिविर लगाए गए हैं।


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